Category: Uncategorized
-
जीवन साथी
अर्पिता, कोमल और सुरभि, तीनों पक्की सहेलियाँ थी। इतनी पक्की कि मानो दान्त काटी रोटी। छठी से बारहवीं तक का स्कूल साथ था। उसके बाद तीनों का एक ही विषय और एक ही कॉलेज रहा। उनकी इतनी पुरानी और पक्की जोड़ी ने कई-कई मुहावरे गढ़ दिए, जैसे कि पिछले जन्म में ये तीनों जुडवाँ बहनें…
-
यादें याद आती है
‘इस बार तो मैं किसी की नहीं सुनूंगी। जाऊँगी ही जाऊँगी। इतने साल हो गए, याद ही नहीं कब सारी बहनें एक साथ बैठी थीं। स्नेहल का ब्याह हो गया, साहिल अमेरिका चला गया, मेरे पास तो कोई बचा ही नहीं। शिव… एक-एक करके सभी मौसियों को फ़ोन लगा कर दे तो।’ बबीता ने कुछ…
-
सितारा तीसरी पीढ़ी का
सुरीली की नानी शास्त्रीय संगीत की ख्यात गायिका थीं। उसकी मम्मी और सुरीली, दोनों को सुरीला गला प्राकृतिक तौर पर मिला। घर में लक्ष्मीजी और सरस्वतीजी का वास था। कहते हैं कि पूत के पाँव पालने में दिख जाते हैं। कुछ ऐसा ही सुरीली के साथ हुआ। सुरीली के नाते – रिश्तेदारों को उसके हँसने…